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आतंकवाद

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    3 Likes | 2 Views | Apr 30, 2025
    Screenshot 2025 04 30 16 05 53 69 680d03679600f7af0b4c700c6b270fe7

    जो हर वचन का मज़ाक बनाते आए,

    हमेशा जो कायरता का परिचय देते आए।

    उस देश ने फिर से एक भूल कर दी,

    हिंदुस्तान की आँखें आक्रोश से भर दी।

    ऐसे हैं वे लोग है जिनमें क्रूरता का वास,

    एक बार फिर न हो पाएगा उन पर विश्वास।

    अब न रखना तुम हिंद से कोई आस,

    समय आ गया है, जगिन लो अपनी आख़िरी श्वास ।

    कश्मीर की सुंदरता को, रक्त से ढका दिया,

    हाय! वो मदद की पुकार, सबका दिल दहला दिया।

    जो सोच रहे हैं कि हो गई हिंदुस्तान की हार,

    क्या सह पाओगे तुम होने वाले प्रहार की मार ?